कुछ दिन हुए हिन्दी में भी विकि-हाऊ (wiki-how) शुरू हुआ है। विकिपिडिया और विकिट्रवेल की तरह यह भी एक विकि है जिसका अर्थ है कि कोई भी इसको सम्पादित कर सकता है।
किन्तु इसकी सबसे बड़ी विशेषता 'हाऊ' में छिपी है। हिन्दी में 'भारतकोश', 'हिन्दी विश्वकोश' और 'हिन्दी विकिपिडिया' आदि हिन्दी के सामान्य ज्ञानकोश पहले से ही उपलब्ध हैं। किन्तु विकि-हाऊ इनसे अलग है। इसमें केवल ऐसे लेख बनाए जाते हैं जो कुछ करने का चरणबद्ध तरीका बताते हैं कि अमुक काम कैसे करें। मेरे विचार से हिन्दी के लिए इस तरह के ज्ञान की सबसे अधिक आवश्यकता है। क्या, क्यों, कहाँ आदि के उत्तर तो हम कहीं से रट लेते हैं किन्तु किसी काम को कैसे किया जाय इसका वर्णन हिन्दी में बहुत कम मिलेगा। जबकि जरूरत सबसे अधिक है। सामान्य जनता को तो इससे लाभ होगा ही, हमारे इंजीनियरों तक को इससे लाभ मिलेगा।
हिन्दी और भारत का हित चाहने वाले सरल हिन्दी में इस तरह के हजारों लेख तैयार करें तो देश का कायाकल्प करने में मदद मिलेगी। देशवासियों का आत्मविश्वास बढ़ेगा, लोग स्वरोजगार की तरफ प्रवृत्त होंगे, सृजनशीलता बढ़ेगी, देश की आर्थिक प्रगति सुदृढ होगी।
हिन्दी विकिहाऊ का मुखपृष्ट
किन्तु इसकी सबसे बड़ी विशेषता 'हाऊ' में छिपी है। हिन्दी में 'भारतकोश', 'हिन्दी विश्वकोश' और 'हिन्दी विकिपिडिया' आदि हिन्दी के सामान्य ज्ञानकोश पहले से ही उपलब्ध हैं। किन्तु विकि-हाऊ इनसे अलग है। इसमें केवल ऐसे लेख बनाए जाते हैं जो कुछ करने का चरणबद्ध तरीका बताते हैं कि अमुक काम कैसे करें। मेरे विचार से हिन्दी के लिए इस तरह के ज्ञान की सबसे अधिक आवश्यकता है। क्या, क्यों, कहाँ आदि के उत्तर तो हम कहीं से रट लेते हैं किन्तु किसी काम को कैसे किया जाय इसका वर्णन हिन्दी में बहुत कम मिलेगा। जबकि जरूरत सबसे अधिक है। सामान्य जनता को तो इससे लाभ होगा ही, हमारे इंजीनियरों तक को इससे लाभ मिलेगा।
हिन्दी और भारत का हित चाहने वाले सरल हिन्दी में इस तरह के हजारों लेख तैयार करें तो देश का कायाकल्प करने में मदद मिलेगी। देशवासियों का आत्मविश्वास बढ़ेगा, लोग स्वरोजगार की तरफ प्रवृत्त होंगे, सृजनशीलता बढ़ेगी, देश की आर्थिक प्रगति सुदृढ होगी।
हिन्दी विकिहाऊ का मुखपृष्ट